
0 देवरीखुर्द में किसके इशारे पर खेला जा रहा सरकारी कब्जे का खेल
0 कह रहे लोग न डर न भय निगम और राजस्व अमले की जय जैसा है माहौल

बिलासपुर। देवरीखुर्द के पार्षद लक्ष्मी यादव पर लगातार अवैध कब्जे के लग रहे आरोपो से बवाल मचा है। तनाव की शिकायत पर शुक्रवार को राजस्व अमला कार्यवाही करने देवरीखुर्द के सतबहिनिया मंदिर की जमीन का मौका मुआयना किया। बताया जा रहा कि जांच के दौरान सरकारी जमीन पर अवैध कब्जे की पुष्टि भी हुई ।बता दें कि स्थानीय चन्द्र शेखर आजाद नगर वार्ड क्रमांक 42 के लोग लगातार इस पर कब्जे की शिकायतें कर रहे मगर जिला व निगम प्रशासन ने अब तक कोई बड़ी कार्रवाई नहीं की । वार्ड वासियों और सतबहिनिया दाई मंदिर ट्रस्ट के पदाधिकारियो के खुलकर सामने आने के करीब साल भर बाद राजस्व विभाग ने कागजी घोड़ा के लिए पार्षद लक्ष्मी यादव समेत मंदिर समिति के सदस्य , स्थानीय नागरिक और नगर निगम दौड़ा सभी पक्षकारों को स्थल निरीक्षण में उपस्थित रहने नोटिस जारी किया था। गत शुक्रवार को मौके पर कार्यवाही के लिए पहुंचे राजस्व अमले ने शिकायतकर्ताओं के समक्ष सरकारी जमीन पर कब्जे की पुष्टि भी की ऐसा बताया जा रहा।
पीछे कब्जा और सामने कब्जा न करने का नोटिस।

इस पूरे कब्जे और घटनाक्रम में एक बात पूरे क्षेत्र में चर्चा का विषय बनी हुई है मौके पर निरीक्षण के दौरान अधिकारियों ने पाया कि जी शासकीय भूमि पर अवैध निर्माण और कब्जा किया गया है उसके ठीक सामने पार्षद का नोटिस बोर्ड भी लगा है जिस पर लिखा है सरकारी भूमि पर कब्जा ना करें।
नोटिस बोर्ड देख लगे ठहाके
बताया जा रहा कि खुद पार्षद ने सरकारी जमीन पर लगातार हो रहे कब्जे को देखते हुए मौके पर सरकारी जमीन पर कब्जा न करने और करने पर कठोर कार्रवाई का बोर्ड लगा खुद कब्जा कर लिया जिसे देख लोग ठहाके लगाते रहे।
ऐसा चल रहा कब्जे का खेल
देवरीखुर्द में सरकारी जमीन पर अवैध कब्जे का खेल बेखौफ जारी है। आरोप है कि यहां महिला एवं बाल विकास की एक कर्मचारीआंगन बाड़ी के पीछे कब्जा कर रही । वही आगे 4 ब्लॉक में नए कब्जे किए जा रहे जिसकी शिकायत भी की जा चुकी है। मंदिर ट्रस्ट के सदस्यों और स्थानीय नागरिकों का कहना है कि पिछले कई महीनों से इस जमीन पर अतिक्रमण हो रहा था और उन्होंने कई बार प्रशासन से इसकी शिकायत की पर किसी ने ध्यान नही दिया।अब जाकर राजस्व अमला मौके पर आया है, उम्मीद है कि अब न्याय मिलेगा।”
जनता कहा गुहार लगाये
मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष राजू कश्यप ने बताया कि मंदिर की जमीन पर भाजपा शासन काल में कब्जा करना बहुत ही निंदनीय है सरकार हमें न्याय दे जब पार्षद ही कब्जे में शामिल हो तो जनता अपनी गुहार कहा लगाए।
स्वछता उपयोग की भूमि पर कब्जा

राजस्व विभाग के अधिकारियों के मुताबिक कब्जकृत भूमि सरकारी रिकॉर्ड में स्वच्छता उपयोग हेतु दर्ज है और इस पर किसी भी प्रकार का निजी कब्जा अवैध है। पंचनामा की प्रक्रिया कर ली गई है संबंधित अधिकारियों को रिपोर्ट सौंपी जाएगी।

आखिर नेताजी को किसका संरक्षण
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कब्जाधारियों को निगम की एक पदाधिकारी का संरक्षण प्राप्त है जो सत्ता पक्ष से भी जुड़ा हुआ है ऐसे मैं इस पूरे मामले को लेकर कहीं ना कहीं सत्ताधारी दल भी सवालों के घेरे में है कि आखिर एक धार्मिक ट्रस्ट की जमीन पर कब्जे के पीछे खेल क्या चल रहा।

