
*0 व्यस्ततम शनिचरी रोड पर फैलेगी अव्यवस्था, कहां खड़ी होंगी गाड़ियां
0 शिक्षा स्वास्थ्य और जनसुविधा मुहैया कराना है निगम प्रशासन का मूल काम
0 काटे जा रहे पेड़ उजाड़ रहे हरियाली

अरपा प्रोजेक्ट पड़ा अधूरा, उजाड़ दिए मुन्नूलाल शुक्ल स्कूल
बिलासपुर। अरपा रिवर फ्रंट डेवलपमेंट के नाम पर ढहाए गए गोड़पारा शनिचरी मार्ग के चर्चित और उजाड़ पड़े पं मुन्नूलाल शुक्ला स्कूल परिसर को अब नगर निगम प्रशासन ने 3 लाख रुपये में तिब्बती उलन मार्केट को दे दिया।
दानवीर पंडित देवकीनन्दन दीक्षित ने शहरवासियों को शिक्षा स्वास्थ्य श्मशान और मनोरंजन के लिए जिस निगम को अपना सर्वस्व दान कर दिया। उसी नगर निगम प्रशासन ने इस स्कूल को ढहा उजाड़ पड़े परिसर को तीन महीने के लिए 3 लाख रुपये में उलन मार्केट के लिए किराए पर दे दिया।

ऐसे दी जा रही हरे भरे नए पेड़ो की बलि
शहर के प्रतिष्ठित और नामी पंडित मुन्नूलाल शुक्ला के नाम पर संचालित इस स्कूल से उस समय के नामी गिरामी लोगो ने शिक्षा प्राप्त की वह स्कूल आज उजाड़ पड़ा है।

पेड़ो की कटाई का इकलौता गवाह कुल्हाड़ी
निगम का मूल काम नागरिकों को शिक्षा स्वास्थ्य और मूलभूत सुविधाएं मुहैया कराना है पर लगता है कि ठेकेदारी के मलाई के चक्कर मे अफसर तो अफसर जनप्रतिनिधि भी ये भूल गए। तभी तो कईं विभूतियों के इस शिक्षा के मंदिर को संरक्षित करने के बजाय इसे उजाड़ कर किराए का बाजार चलाने छोड़ दिया गया।
बाजारीकरण का इतना असर हुआ कि शहर के तीन ऐतिहासिक स्कूल पंडित मुन्नूलाल शुक्ल जूना बिलासपुर में नागोराव शेष तिलकनगर के पुत्री शाला स्कूल को ढहा दिया गया वही शनिचरी बाजार के स्कूल के हिस्से को फर्नीचर लाइन की सड़क के चौड़ीकरण के लिए स्कूल के बाउंड्रीवाल को तोड़ दुकाने खड़ी कर दी गई। कुल मिलाकर सरकारे ऑफ स्थानीय प्रशासन को अब खैराती अस्पताल और स्कूल बोझ लगने लगे है तभी तो इन स्कूलों को खंडहर कर निजीकरण को बढ़ावा और दूसरी तरफ दिखावे के लिए स्वामी आत्मानन्द स्कूलों का ढिंढोरा पीट जनमानस मो दिग्भर्मित किया जा रहा। लोग कफ्यूज है कि आखिर कांसेप्ट क्या है।

